For the best experience, open
https://m.sachbedhadak.com
on your mobile browser.

दो दिन मनाया जाएगा पर्व, आज छाएगा पतंगबाजी का रोमांच, मकर संक्रांति का दान-पुण्य कल

Makar Sankranti Festival : सूर्य आराधना का महापर्व मकर संक्रांति का पर्व सोमवार को बनाया जाएगा। वहीं आज शहर में पतंगबाजी का रोमांच छाया नजर आएगा। ज्योतिषियों के अनुसार सूर्य के मकर राशि में प्रवेश पर मकर संक्रांति का पर्व मनाया जाता है।
08:00 AM Jan 14, 2024 IST | BHUP SINGH
दो दिन मनाया जाएगा पर्व  आज छाएगा पतंगबाजी का रोमांच  मकर संक्रांति का दान पुण्य कल

Makar Sankranti Festival : जयपुर। सूर्य आराधना का महापर्व मकर संक्रांति का पर्व सोमवार को बनाया जाएगा। वहीं आज शहर में पतंगबाजी का रोमांच छाया नजर आएगा। ज्योतिषियों के अनुसार सूर्य के मकर राशि में प्रवेश पर मकर संक्रांति का पर्व मनाया जाता है। इस बार रविवार को रात 2.54 बजे सूर्यदेव मकर राशि में प्रवेश करेंगे। इसलिए मकर संक्रांति के निमित्त दान-पुण्य सोमवार को किया जाएगा। इस मौके पर मंदिरों में विशेष पूजा-अर्चना के साथ दान-पुण्य का दौर चलेगा। संक्रांति को लेकर शहर में पतंगबाजी भी परवान पर है।

Advertisement

यह खबर भी पढ़ें:-‘जो लोग राम को नहीं मानते वह संविधान का अपमान कर रहे…’ जयपुर में बोले उपराष्ट्रपति जगदीप धनखड़

पतंगबाजी के शौकीन लोग मार्केट से खरीदारी करते हुए नजर आए। इस बार बाजारों में अलग-अलग रंग बिरंगी पतंगें दिखाई दीं। एक दिन पहले शनिवार को जयपुर के पतंग व्यापारियों का कहना है कि इस बार मार्केट काफी अच्छा है, बिक्री भी अच्छी खासी हो रही है। महंगाई के बावजूद लोग पतंगबाजी को लेकर उत्साहित हैं। इधर, मौसम विभाग के मुताबिक मकर संक्रांति पर रविवार को राजस्थान में करीब आधा दर्जन जिलों में सुबह के समय घना कोहरा छाया रहेगा। शेखावाटी में शीत लहर चलने की संभावना है। राहत की बात यह है कि जयपुर दिन में धूप खिलने से शहरवासी पतंगबाजी भरपूर आनंद ले सकेंगे।

CM ने दी शुभकामनाएं

मुख्यमंत्री भजन लाल शर्मा ने लोहड़ी एवं मकर संक्रांति के पर्व पर प्रदेशवासियों को हार्दिक बधाई देते हुए प्रदेश की सुख-समृद्धि की कामना की है। शर्मा ने अपने संदेश में कहा कि लोहड़ी का पर्व हमारे जीवन में उल्लास, उमंग और आशा उत्पन्न करता है। सूर्य की उपासना का पर्व मकर संक्रांति हमें जीवन में दान-पुण्य के महत्व को समझने और बेसहारा व उपेक्षित व्यक्तियों के सुख-दुख में भागीदार बन सकारात्मक ऊर्जा के साथ कर्म करने की सीख देता है।

यह खबर भी पढ़ें:-रामलला प्राण प्रतिष्ठा में शंकराचार्य क्यों नहीं जा रहे अयोध्या? अशोक गहलोत ने बताई बड़ी वजह

.