G-20 मेहमानों को परोसे जा रहे मोटे अनाज के खास पकवान...मिलेट कुकीज, खीर, केक और ना जाने क्या-क्या?
G-20 Summit 2023 Delhi: 'अतिथि देवो भव:' की संस्कृति का मानने वाला हमारा देश आज G20 सम्मेलन की मेजबानी कर रहा है। उस सम्मेलन में शामिल होने के लिए दुनिया भर से वीवीपीआई मेहमान भारत आ गए है। इन मेहमानों की मेहमानव़ाजी के लिए बेहतरीन से बेहतरीन इंतजाम सरकार द्वारा किए गए हैं। इस सम्मेलन में शामिल होने वाले मेहमानों के लिए कश्मीर से लेकर कन्याकुमारी तक लजीज व्यंजनों को परोसा जा रहे हैं।
परोसे जा रहे मोटे अनाज के व्यंजन
इन लजीज व्यंजनों की खास बात यह है कि इन व्यंजनों में मिलेट यानी मोटे अनाज को शामिल किया गया हैं। मेहमानों के ब्रेकफ्रास्ट, लंच और डिनर में 500 से ज्यादा डिशेज को शामिल किया गया है। बता दें कि भारत के प्रस्ताव पर संयुक्त राष्ट्र ने मिलेट्स के फायदों के बारे में जागरूकता फैलाने के लिए 2023 को इंटरनेशनल मिलेट्स ईयर के रूप में मान्यता दी भी दी थी।
मिलेट्स के फायदे
मिलेट्स के फायदे खाने में स्वादिष्ट होने के साथ-साथ मिलेट्स बैड कोलेस्ट्रॉल और डायबिटीज को कंट्रोल करता है। इसके अलावा हार्ट डिसीस और स्ट्रोक जैसी बीमारियों से भी बचाता हैं। आसानी से पचने की के कारण यह पेट के लिए और वजन कम करने के लिए फायदेमंद होता हैं। मिलेट रोग प्रतिरोधी क्षमता को भी बढ़ाने का काम करता है।
महिला किसान उद्यमी को G20 में निमंत्रण
खास बात ये है कि जी20 में महिला किसान शामिल होने वाले प्रतिनिधियों को बाजरा जैसे मोटे अनाज की खेती के बारे में अपने अनुभव और ज्ञान साझा कर रहे है। ये महिलाएं अपने-अपने क्षेत्रों में मोटे अनाज की खेती में क्रांति लाने के लिए काफी अच्छा काम कर रही हैं।
कृषि मंत्रालय के एक अधिकारी की माने तो सरकार के इस आयोजन के दौरान मोटे अनाजों का उत्पादन करने वाले 11 राज्यों की 22 महिला किसान उद्यमी भी अपने अनुभवों को साझा कर रही है। यह महिलाएं राजस्थान, महाराष्ट्र, कर्नाटक, उत्तर प्रदेश, मध्यप्रदेश , तमिलनाडु, उत्तराखंड, ओडिशा, छत्तीसगढ़ , बिहार और असम राज्यों से शामिल हो रही है।
किसानों को मिल रहा फायदा
मिलेट के उत्पादन और उपभोग को सरकार लगातार बढावा दे रही है। यह किसानों के लिए फायदेमंद साबित हो रहा है। देश के प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी भी ‘मन की बात’कार्यक्रम में किसानों की आय बढ़ाने में मिलेट की भूमिका का जिक्र कर चुके है।
वैश्विक हब बनाने की कोशिश
वित्त मंत्री निर्मला सीतारमण ने भी 1 फरवरी को पेश किए गए बजट में मिलेट्स को श्रीअन्न के तौर पर प्रमोट किया था। सरकार भारत को मिलेट्स का वैश्विक हब बनाने की योजना कर रही है। सरकार की कोशिश के कारण अब देश ही बल्कि विदेशों में भी इसकी लोकप्रियता बढ रही है। इसका सीधा असर छोटे से लेकर बढे किसानों की आमदनी पर देखने को मिल रहा है।