Uttarakhand Tunnel Collapse: बस आने वाली है सुखद खबर! टनल में फंसे 41 मजदूर आज रात लेंगे खुले आसमान में सांस
उत्तरकाशी। उत्तराखंड के उत्तरकाशी की सिल्क्यारा टनल में पिछले 13 दिन से फंसे 41 मजदूरों के जल्द बाहर निकलने की कोशिश आज नई किरण लेकर आने वाली है। पिछले तीन दिनों से सबकी निगाहें टनल पर लगी हैं, सारे इंतजाम कर लिए गए हैं। शुक्रवार को ऑपरेशन फिर से शुरू कर दिया गया है। अधिकारियों ने विश्वास दिलाया है कि कोई रुकावट नहीं आई तो सभी मजदूरों को शाम तक टनल से बाहर निकाल लिया जाएगा।
पांच- ओएनजीसी, एसजेवीएनएल, आरवीएनएल, एनएचआईडीसीएल और टीएचडीसीएल, उत्तरकाशी टनल के रेसक्यू ऑपरेशन में जुटी हैं। इतना ही नहीं विदेशी एक्सपर्ट अर्नोल्ड डिक्स को भी बुलाया गया है। मजदूरों को बाहर निकालने के लिए चलाए जा रहे रेसक्यू ऑपरेशन को अर्नोल्ड डिक्स लीड कर रहे हैं।
खुद पीएमओ के पूर्व सलाहकार भास्कर खुल्बे मौके पर डटे हैं। उन्होंने कहा, 'मशीन के प्लेटफार्म को ठीक कर लिया गया है, साथ ही उसे मजबूत भी किया गया है। 'ऑगर' मशीन के जरिए मलबे के बीच से पाइप डालने का काम 11.30 बजे शुरू हो गया है। हमें अभी 12-14 मीटर और जाना है। मुझे उम्मीद है कि यदि सब कुछ ठीक रहा तो शुक्रवार शाम तक अभियान समाप्त हो सकता है।'
कल शाम को रेस्क्यू ऑपरेशन में लग गई थी रोक…
गुरुवार तक मलबे में अब तक 50 मीटर तक पाइप डाला जा चुका है जबकि करीब 10 मीटर पाइप डाला जाना बाकी है। गुरुवार को केवल तीन मीटर पाइप ही अंदर डाला जा सका। अब केवल 10 मीटर की ड्रिलिंग बाकी रह गई है, लेकिन चैलेंज ये है कि कल शाम से रेस्क्यू ऑपरेशन पर रोक लग गई है। ड्रिलिंग का काम रोक दिया गया था। ऑगर मशीन में खराबी के बाद रेस्क्यू रोकना पड़ा है। पूरी रात मशीन को ठीक करने का काम चलता रहा। वो प्लेटफार्म भी अपनी जगह से हट गया है जिसके ऊपर मशीन को माउंट किया जाता है। पूरी रात रिपेयरिंग चलती रही अब तक टनल के अंदर 50 मीटर की ड्रिलिंग हो चुकी है।
मजदूरों को दिया जा रहा पका हुआ भोजन…
सुरंग के अंदर फंसे मजदूरों के साथ ही बचाव कार्य में लगे लोगों का भी खाने-पीने का भी ध्यान रखने वाली सात सदस्यीय टीम के लीडर रत्नाकर दास ने बताया कि पूर्व में 4 इंच के पाइप से हर 45 मिनट में अंदर फंसे मजदूरों को मुरमुरे, भूने चने, भीगे चने, बादाम, काजू, किशमिश और पॉपकार्न व मूंगफली दी जाती थी। जिसे वह स्टोर करके खाया करते थे। अब छह इंच का पाइप पहुंचने के बाद से मजदूरों को पका हुआ भोजन दिया जा रहा है। उनकी टीम मजदूरों और बचाव कार्य में लगी टीम के सुबह के नाश्ते, दिन व रात के खाने को पहुंचाने में दिन-रात जुटी रहती है। गुरुवार को मजदूरों को नाश्ते में दूध, ब्रेड और चने दिए गए। इससे पहले मजदूरों ने नाश्ते में उपमा तथा लंच में दाल-भात खाया।
सीएम धामी ने की मजदूरों से बात…
उत्तराखंड के सीएम पुष्कर सिंह धामी ने कहा कि सुंरग के अंदर फंसे मजदूर सही सलामत हैं, उनसे बात हो रही है। उम्मीद की किरण जगमग है। गुरुवार को सीएम धामी ने मजदूरों का हौसला बढ़ा रहे गब्बर सिंह से बात की और भरोसा दिलाया कि पूरा देश उनके साथ है। पिछले 12 दिनों से जो इंतजार हो रहा है, आज तेरहवें दिन उसके पूरा होने की उम्मीद है। सिलक्यारा टनल के बाहर बने मंदिर में प्रार्थना का दौर भी लगातार जारी है और यही कामना की जा रहा है कि कोई भी बाधा हो वो जल्द से जल्द दूर हो जाए।
कैसे हुआ था सुरंग में हादसा…
बता दें कि ब्रह्मखाल-यमुनोत्री राष्ट्रीय राजमार्ग पर सिल्क्यारा और डंडालगांव के बीच सुरंग बन रही थी। 12 नवंबर को जब पूरा देश दीवाली मना रहा था, तब सुबह 9.30 बजे उत्तराखंड के उत्तरकाशी की सिलक्यारा टनल में पहाड़ी के ढहने से 41 मजदूर फंस गए। तब से देश और दुनिया की एजेंलियां और एक्सपर्ट मजदूरों को टनल से बाहर निकालने के लिए काम कर रहे हैं।
टनल में 8 राज्यों के 41 मजूदर फंसे…
- सुबोध कुमार : झारखंड।
- विश्वजीत कुमार : झारखंड।
- अनिल बेदिया : झारखंड।
- सुकराम : झारखंड।
- श्राजेद्र बेदिया : झारखंड।
- टिंकू सरदार : झारखंड।
- रंजीत : झारखंड।
- गुनोधर : झारखंड।
- रविन्द्र : झारखंड।
- समीर : झारखंड।
- महादेव : झारखंड।
- भुक्त मुर्मू : झारखंड।
- चमरा उरांव : झारखंड।
- विजय होरो : झारखड।
- गणपति : झारखंड।
- अंकित : उत्तर प्रदेश।
- अखिलेश कुमार :उत्तर प्रदेश।
- जय प्रकाश : उत्तर प्रदेश।
- राम सुंदर : उत्तर प्रदेश।
- राम मिलन : उत्तर प्रदेश।
- सत्यदेव : उत्तर प्रदेश।
- संतोष : उत्तर प्रदेश।
- मंजित : उत्तर प्रदेश।
- भगवान बत्रा : ओडिशा।
- तपन मंडल : ओडिशा।
- राजू नायक : ओडिशा।
- विशेषर नायक : ओडिशा।
- धीरेन : ओडिशा।
- दीपक कुमार : बिहार।
- वीरेंद्र किस्कू : बिहार।
- सबाह अहमद : बिहार।
- सोन शाह : बिहार।
- सुशील कुमार : बिहार।
- जयदेव प्रमाणिक : पश्चिम बंगाल।
- मनिर तालुकदार : पश्चिम बंगाल।
- सेविक पखेरा : पश्चिम बंगाल।
- गब्बर सिंह नेगी : उत्तराखंड।
- पुष्कर : उत्तराखंड।
- संजय : असम।
- रामप्रसाद : असम।
- विशाल : हिमाचल प्रदेश।