सफाईकर्मियों की हड़ताल से बिगड़ी करौली की सफाई व्यवस्था, जगह-जगह कचरे के ढेर, संक्रमण फैलने का खतरा बढ़ा
sweepers strike : करौली। सफाईकर्मियों की हड़ताल के कारण करौली शहर की सफाई व्यवस्था पूरी तरह चरमाई हुई है। शहर में जगह-जगह कचरे के ढेर लगे हुए है। जिससे कारण आमजन का बदबू से हाल-बेहाल है। वहीं, संक्रमण फैलने का खतरा भी बना हुआ है। शहर में गंदगी का आलम ऐसा है कि राहगीरों का रास्ता से निकलना और स्थानीय व्यापारियों का व्यापार करना मुश्किल होता जा रहा है। सफाई कर्मचारियों की हड़ताल के कारण असर मदनमोहन जी मंदिर, जैन मंदिर के आसपास जगह-जगह गंदगी के ढेर लगे हुए है। ऐसे में अलग-अलग राज्यों से दर्शनों के लिए पहुंचे दर्शनार्थियों को गंदगी की बदबू से परेशान होना पड़ रहा है। इसके साथ ही शहर की विभिन्न कॉलोनियों में भी गंदगी का आलम दिखाई दिया। जिससे जनता को परेशान होना पड़ रहा है।
लोगों में विभाग के प्रति नाराजगी
शहर के सभी प्रमुख हिस्सों के अलावा घनी आबादी वाले मोहल्लों से कचरा का उठाव नहीं हो रहा है। ऐसे में संक्रमण होने का खतरा भी बढ़ गया है। इससे लोगों में विभाग के प्रति नाराजगी है। स्थानीय लोगों का कहना है कि शहर की सफाई नहीं कराई जा रही है। वार्डों में फैले कचरे के कारण लोगों को चलना मुश्किल हो गया है। कांग्रेस नेता कृपाल मीना और पूर्व पार्षद शिवकुमार शर्मा ने कहा कि अभी शादी विवाह का समय है। गंदगी के कारण लोगों को परेशानी झेलनी पड़ रही है। नप द्वारा इस विषय पर कोई विचार नहीं किया जाना दुर्भाग्यपूर्ण है। शहर में सभी वार्डों, कॉलोनियों, मुख्य चौराहे व गली-मोहल्लों में कचरे के ढेर लगे हुए है। जिसके कारण आमजन में रोष व्याप्त है। लोगों का कहना है कि सफाई कर्मी 1 साल में 12 बार से ज्यादा हड़ताल पर जा चुके है, जिसके कारण पूरे शहरवासी गंदगी से परेशान रहते है।
मांग पूरी नहीं होने तक जारी रहेगा प्रदर्शन
सफाई कर्मचारियों ने वाल्मीकि समाज को प्राथमिकता नहीं देने और संविदा कर्मियों को नियमित नहीं करने पर कार्य बहिष्कार उतर गए हैं। बुधवार को जिला कलेक्ट्रेट में सफाई कर्मचारियों के द्वारा प्रदर्शन कर अपना विरोध जाहिर किया गया और जिला कलक्टर को ज्ञापन प्रेषित किया। ज्ञापन में कर्मचारियों ने मांग पूरी नहीं होने तक हड़ताल जारी रखने की चेतावनी दी है। सफाई कर्मचारियों की हड़ताल के कारण शहर की अलग-अलग सड़कों पर गंदगी और कचरा फैला हुआ है। जिससे आम जनता को परेशानी का सामना करना पड़ रहा है। सफाई कर्मचारियों के द्वारा काम को ठप कर दिया गया। सफाई कर्मचारी नगर परिसर में इकट्ठा होकर विरोध जाहिर किया गया। कर्मचारी नेता ने बताया कि सफाई कर्मचारी भर्ती 2023 में वाल्मीकि समाज को प्राथमिकता दी जाए। उन्होंने कहा कि जब तक उनकी मांग पूरी नहीं होती है तब तक सफाई कर्मचारियों की हड़ताल जारी रहेगी।
कांग्रेस नेता ने आयुक्त पर लगाया भ्रष्टाचार का आरोप
कांग्रेस नेता कृपाल मीना ने कहा कि हड़ताल के चलते सफाई व्यवस्था ठप है। जो सफाई कर्मी अस्थाई रूप से लगा रखे है, उनको वेतन भत्ता मिलना चाहिए और इसकी संपूर्ण जिम्मेदारी नगर परिषद की है। परिषद द्वारा इनसे सफाई करवा ली जाती है। लेकिन, वेतन नहीं दिया जाता है। 4 दिन कार्य करते है और उसके बाद हड़ताल पर चले जाते है। उन्होंने कहा कि नगर परिषद आयुक्त द्वारा बिजली, बंदर, आवारा पशु, सहित अन्य के लिए टेंडर अपनी फर्मों के नाम निकालकर राजस्व को चपत लगा रहे है। कार्यवाहक को आयुक्त की पोस्ट पर बैठा रखा है, जिससे परिषद में भ्रष्टाचार चरम पर है।
(सागर शर्मा)