2 करोड़ की घूस मामले में आखिर निलंबित हुईं RPS दिव्या मित्तल, गृह विभाग ने दिए आदेश
SOG ASP दिव्या मित्तल को आखिरकार उन्हें अपने पद से निलंबित कर दिया गया है। दिव्या मित्तल पर 2 करोड़ रुपए की घूस मांगने का आरोप था। गृह विभाग ने आज आदेश जारी कर दिव्या मित्तल के निलंबन का आदेश दे दिया है। आदेश में कहा गया है कि दिव्या मित्तल को न्यायिक अबिरक्षा में 48 घंटे से ज्यादा रखा गया है और यह नियम है कि किसी अधिकारी को अगर 48 घंटे तक न्यायिक अभिरक्षा में रखा जाता है तो उसे उसके पद से बर्खास्त कर दिया जाता है।
रिमांड पूरी होने पर हो सकते हैं और खुलासे
ACB इस मामले की गहनता से जांच चल रही है। जब दिव्या की रिमांड पूरी हो जाएगी तो ACB इस मामले का खुलासा कर सकती है कि दिव्या ने पूछताछ में क्या कहा है। क्योंकि दिव्या ने कहा था कि घूस की राशि ऊपर तक दी जाती है। जिससे अब बड़े स्तर के अधिकारी भी जांच की जद में आ सकते हैं। पिछले दिनों ACB ने आनासागर झील में दिव्या के फेंके गए मोबाइल फोन के लिए तलाशी अभियान चलाया था, लेकिन ACB को सफलता नहीं मिली थी।
ये था पूरा मामला
दिव्या मित्तल के खिलाफ घूस लेने का मामला सामने आने पर ACB की टीम अलर्ट हो गई थी। 16 जनवरी को ACBकी टीम जयपुर से रवाना हो गई थी। उदयपुर और अजमेर और जयपुर में दिव्या के ठिकानों पर छापा मारा गया। यह पूरा मामला NDPS एक्ट से जुड़ा हुआ है। परिवादी ने शिकायत दर्ज कराई थी कि NDPS एक्ट में एक मामला था जिसमें परिवादी का नाम भी था लेकिन वह निर्दोष है। इस मामले की SOG जांच कर रही थी। इसके लिए उसने SOG की ASP दिव्या मित्तल से खुद के निर्दोष होने पर नाम हटाने को कहा था। इस पर दिव्या मित्तल ने नाम हटाने के एवज में उससे 2 करोड़ रुपए मांगे थे। लेकिन परिवादी ने इतनी मोटी रकम देने में असमर्थता जताई। इस पर दिव्या मित्तल 50 लाख रुपए पर मान गई थीं।
जो करना है कर लो कुछ नहीं बताऊंगी
बता दें कि एसीबी के एडिशनल एसपी पुष्पेंद्र सिंह के नेतृत्व में आनासागर झील में सर्च अभियान चलाया गया था। एएसपी पुष्पेंद्र सिंह ने कहा था कि सर्च के दौरान उन्हें झील से कुछ भी बरामद नहीं हुआ। इसकी और जांच करवाई जाएगी। वहीं एसीबी के अधिकारियों ने एएसपी दिव्या मित्तल के सामने ही यह सर्च अभियान चलाया था। इस दौरान जब एसीबी के अधिकारियों ने दिव्या मित्तल से पूछा तो उन्होंने कुछ भी बताने से साफ इनकार कर दिया। साथ ही कहा कि ‘जो करना है कर लो लेकिन मैं कुछ नहीं बताऊंगी।’