लोकसभा चुनाव 2024: राजस्थान में OBC के दम पर चुनावी हुंकार, कांग्रेस में ब्राह्मण-मुस्लिम चेहरे नदारद
Rajasthan Loksabha Election 2024: राजस्थान में लोकसभा चुनावों के लिए बीजेपी और कांग्रेस दोनों दलों ने अपने 24-24 प्रत्याशियों का ऐलान कर दिया है जिसके बाद पहले चरण के मतदान के लिए बुधवार को सभी प्रत्याशी अपना नामांकन दाखिल कर देंगे. बीजेपी ने अपनी छठी लिस्ट में मंगलवार को दौसा से कन्हैयालाल मीणा और करौली-धौलपुर से इंदुदेवी जाटव को लोकसभा का टिकट दिया. बीजेपी व कांग्रेस के कुल 25 में 24-24 सीटों पर प्रत्याशी घोषित किए हैं जहां भाजपा ने अब तक भीलवाड़ा तो कांग्रेस ने बांसवाड़ा से टिकट घोषित नहीं की है.
कांग्रेस ने जहां 2 सीटों पर गठबंधन किया है वहीं कांग्रेस की बांसवाड़ा सीट भारत आदिवासी पार्टी से गठबंधन की उम्मीद में अभी तक अटकी हुई है. इधर मंगलवार को शिव से निर्दलीय विधायक रवींद्रसिंह भाटी ने भी बाड़मेर जैसलमेर से निर्दलीय लोकसभा चुनाव लड़ने का ऐलान कर दिया जिसके बाद इस सीट पर मुकाबला त्रिकोणीय होने के समीकरण बनते दिख रहे हैं.
बीजेपी-कांग्रेस में दोनों दलों से 8 एससी और 6 एसटी चेहरे
बता दें कि गठबंधन सहित दोनों दलों ने एससी की 4 और एसटी की 3 सीटों को छोड़ शेष 18 सीटों पर 22 ओबीसी प्रत्याशी उतारे हैं. वहीं इन ओबीसी प्रत्याशियों में सबसे ज्यादा 14 टिकट जाटों को दिए गए हैं जिनमें कांग्रेस गठबंधन ने 8 और भाजपा ने 6 जाटों को टिकट दिए हैं. इसके अलावा सामान्य वर्ग के उम्मीदवारों को भाजपा ने 7 सीटों पर और कांग्रेस ने 4 सीटों पर टिकट दिए हैं जिनमें सबसे ज्यादा 7 राजपूत और दो ब्राह्मण चेहरे शामिल हैं.
कांग्रेस में ब्राह्मण चेहरा नदारद
वहीं कांग्रेस ने इस बार एक भी ब्राह्मण चेहरे को लोकसभा चुनाव में टिकट नहीं दिया, हालांकि पहले जयपुर शहर से सुनील शर्मा को उम्मीदवार बनाया गया था लेकिन एक विवाद के बाद उनका टिकट भी बदल दिया गया. वहीं कांग्रेस के किसी भी ब्राह्मण को टिकट नहीं देने से सामाजिक तौर पर नाराजगी के सुर उठने लगे हैं.
सर्व ब्राह्मण महासभा के अध्यक्ष पंडित सुरेश मिश्रा का कहना है कि समाज के वोटों की कांग्रेस पार्टी को जरूरत नहीं है, आजादी से आज तक पार्टियां 2-3 सीट देती रही हैं लेकिन कांग्रेस ने इस बार समाज का अनादर किया है जबकि प्रदेश में करीब 1 करोड़ की तादाद में ब्राह्मण समाज की आबादी है.