राजस्थान को मिले 100 नए फर्स्ट रिस्पॉन्स व्हीकल, अधिस्वीकृत पत्रकारों को लेपटॉप-टेबलेट देगी गहलोत सरकार
जयपुर। राज्य सरकार प्रदेश में कानून व्यवस्था संधारण के लिए पुलिस के आधुनिकीकरण की दिशा में निरंतर कार्य कर रही है। इसी क्रम में मुख्यमंत्री अशोक गहलोत ने गुरुवार को मुख्यमंत्री आवास से 100 फर्स्ट रिस्पॉन्स व्हीकल (एफआरवी) को हरी झंडी दिखाकर रवाना किया। ये वाहन प्रदेश के विभिन्न जिलों में पुलिस बेड़े में शामिल किए जाएंगें। इन सभी वाहनों को आधुनिक मोबाईल डाटा टर्मिनल (एमडीटी), कैमरा, एनवीआर, वायरलेस सेट जीपीएस पब्लिक एड्रेस सिस्टम, फर्स्ट एड बाक्स, स्ट्रेचर, हेलमेट एवं अन्य आपातकालीन उपकरणों से युक्त किया गया है।
उक्त वाहन कमांडर कंट्रोल सेन्टरर्स में स्थित ईआरएस डायल 112 से जुड़े रहेगें तथा इनकी वास्तविक लोकेशन को ट्रैक किया जा सकेंगा। कमांड कंट्रोल सेंटर को डायल 112 पर प्राप्त सभी कॉल पर आमजन को आपातकालीन स्थिति में नजदीकी एफआरवी को भेजकर त्वरित गति से सहायता उपलब्ध कराई जा सकेगी तथा अपराधों की बेहतर रोकथाम हो सकेगी। इस अवसर पर जन स्वास्थ्य एवं अभियांत्रिकी मंत्री महेश जोशी, पुलिस महानिदेशक उमेश मिश्रा, महानिदेशक (एससीआरबी) रवि प्रकाश मेहरड़ा एवं पुलिस महानिरीक्षक (एससीआरबी) शरत कविराज उपस्थित रहे।
यह खबर भी पढ़ें:- मुख्यमंत्री गहलोत का संवेदनशील निर्णय, राजस्थान के 10528 संविदा कार्मिक होंगे नियमित
अधिस्वीकृत पत्रकारों को मिलेंगे लेपटॉप-टेबलेट…
वहीं सूचना एवं जनसम्पर्क विभाग से अधिस्वीकृत पत्रकारों को लेपटॉप-टेबलेट मिलेंगे। मुख्यमंत्री अशोक गहलोत ने इस संबंध में प्रस्ताव को स्वीकृति दी है। प्रस्ताव के अनुसार, सूचना, प्रौद्योगिकी एवं संचार विभाग द्वारा बताई गई टेक्निकल स्पेशिफिकेशन युक्त लेपटॉप-टेबलेट अधिस्वीकृत पत्रकारों द्वारा क्रय किए जाएंगे। अधिकतम राशि 70 हजार रुपए प्रति लेपटॉप-टेबलेट तक संबंधित पत्रकारों को पुनर्भरण किया जाएगा। इसके लिए जिला सूचना एवं जनसम्पर्क अधिकारियों को बजट उपलब्ध करवाया जाएगा। सीएम गहलोत के इस निर्णय से पत्रकारों को अपने कार्य निष्पादन में आसानी होगी तथा जनहित से जुड़े मुद्दों को वे और अधिक दृढ़ता से रख सकेंगे।
यह खबर भी पढ़ें:- Assembly Election 2023 : 5 राज्यों में 8-10 अक्टूबर के बीच बज जाएगा चुनावी बिगुल? जानें क्या कहते हैं ये संकेत
कृषि विश्वविद्यालय एवं संघटक महाविद्यालयों में 45 नवीन पदों का सृजन
इसी के साथ प्रदेश सरकार राज्य में शिक्षण संस्थाओं को सुदृढ़ करके विद्यार्थियों को गुणवत्तपूर्ण शिक्षा उपलब्ध कराने के लिए निरंतर कार्य कर रही है। इसी क्रम में मुख्यमंत्री अशोक गहलोत ने कृषि विश्वविद्यालय जोधपुर तथा संघटक महाविद्यालयों के लिए 45 नवीन पदों के सृजन के प्रस्ताव को मंजूरी दी है।
प्रस्ताव के अनुसार, कृषि विश्वविद्यालय जोधपुर, कृषि महाविद्यालय, डेयरी एवं खाद्य प्रौद्योगिकी महाविद्यालय, प्रौद्योगिकी और कृषि अभियांत्रिकी महाविद्यालय जोधपुर, कृषि महाविद्यालय सुमेरपुर, कृषि महाविद्यालय नागौर, कृषि महाविद्यालय बायतू तथा कृषि अनुसंधान स्टेशन मंडोर में 27 शैक्षणिक एवं 18 अशैक्षणिक पदों का सृजन किया जाएगा।
शैक्षणिक पदों में प्रोफेसर, एसोसिएट प्रोफेसर, असिस्टेंट प्रोफेसर आदि पद तथा अशैक्षणिक पदों में अनुभागाधिकारी, सहायक लेखाधिकारी, कनिष्ठ सहायक आदि पद शामिल हैं। सीएम गहलोत के इस निर्णय से विश्वविद्यालय एवं संघटक महाविद्यालयों में प्रशासनिक कार्य सुगमता से होगा तथा विद्यार्थियों को भी शिक्षा प्राप्त करने में सहायता होगी।