राजस्थान आयुष चिकित्सक महासंघ का ऐलान, वेतन विसंगतियों को लेकर 31 जनवरी को करेंगे प्रदर्शन
(श्रवण भाटी) : जयपुर। राजस्थान के आयुष चिकित्सक महासंघ ने भी कई वर्षों से चली आ रही वेतन विसतंगतियों को लेकर मोर्चा खोल दिया हैं। महसंघ ने आयुर्वेद, यूनानी, एवं होम्योपैथी चिकित्साधिकारियों को सातवें वेतन आयोग में केंद्र के आयुष चिकित्साधिकारियों के समान वेतनमान एवं भत्ते देने और वेतन विसंगित दूर करते हुए डीएसीपी के संबंध में अब प्रदर्शन करेंगे।
महासंघ के अध्यक्ष विनोद कुमार शर्मा ने बताया कि महासंघ का गठन 2011 में आयुर्वेद एवं भारतीय चिकित्सा पद्धति के चिकित्साधिकारियों को डीएसीपी का लाभ दिलवाने के लिए किया गया था। जिसके लिए 2013 से आज तक निरंतर महासंघ द्वारा प्रदर्शन कर हमारी मांगे सरकार के समक्ष रखा है, लेकिन 2013 से कोई सरकार हमारी मांगों को लेकर कोई सकारात्मक रवैया नहीं दिखा रही है।
31 जनवरी को देंगे धरना…
सरकार से महासंघ की मुख्य मांग डीएसीपी अभी भी हमें प्राप्त नहीं हुई हैं। इसके लिए महासंघ द्वारा एक बार पुनः वृहत स्तर पर आंदोलन, धरना और प्रदर्शन करने का निर्णय लिया गया है। विभाग के समस्त चिकित्साधिकारी 31 जनवरी को 22 गोदाम पेट्रोल पंप के पीछे सरकार द्वारा निर्धारित स्थल पर एकत्रित होकर धरना प्रदर्शन करेंगे।
महासंघ की ये हैं मुख्य मांगे…
राज्य में लगभग 5 हजार आयुर्वेद, यूनानी एवं होम्योपैथी चिकित्साधिकारी अपनी सेवायें राज्य के सुदूर, दुर्गम एवं ग्रामीण क्षेत्रों में तत्परता से प्रदान कर रहे हैं। राज्य के आयुष चिकित्साधिकारियों की शैक्षणिक योग्यता, भर्ती प्रक्रिया, सेवा समूह तथा कार्य केंद्र के आयुष चिकित्साधिकारियों तथा राज्य के एलोपैथी चिकित्साधिकारियों के समान है। सभी आयुष चिकित्सकों को सातवां वेतन आयोग के अनुसार वेतन भत्ते दिए जाए।
केंद्र के अनुरूप दिया जाए एनपीए…
पांचवे, छठें एवं सातवें वेतन आयोग की रिपोर्ट के क्रम में वित्त मंत्रालय (व्यय विभाग) भारत सरकार द्वारा जारी आदेशों द्वारा केंद्रीय स्वास्थ्य सेवाओं के ऐलोपैथी एवं आयुष चिकित्सकों को नॉन-प्रैक्टिस भत्ता दिया गया है। साथ ही राज्य के ऐलोपैथी चिकित्साधिकारियों को भी केंद्र के अनुरूप नॉन प्रैक्टिसिंग भत्ता (एनपीए) दिया जाए।