For the best experience, open
https://m.sachbedhadak.com
on your mobile browser.

एक दर्जन से अधिक जगह बारिश, कहीं सूखी फसलें तो कहीं पर राहत बन बरसे बादल

प्रदेश में एक दर्जन से अधिक जगहों पर शनिवार को बारिश हुई। इसके बाद आमजन को गर्मी से हल्की राहत मिली। वहीं बारिश की बूंदे कई जगह फसलों के लिए वरदान बनकर बरसी।
10:29 AM Sep 10, 2023 IST | BHUP SINGH
एक दर्जन से अधिक जगह बारिश  कहीं सूखी फसलें तो कहीं पर राहत बन बरसे बादल

जयपुर। प्रदेश में एक दर्जन से अधिक जगहों पर शनिवार को बारिश हुई। इसके बाद आमजन को गर्मी से हल्की राहत मिली। वहीं बारिश की बूंदे कई जगह फसलों के लिए वरदान बनकर बरसी। राज्य में पिछले दिनों से लगातार बढ़ रहे तापमान में शनिवार को हल्की गिरावट भी दर्ज की गई। शुक्रवार की तुलना में शनिवार को कई जगह तापमान में 5 डिग्री तक की गिरावट दर्ज की गई। शनिवार को राज्य में सर्वाधिक तापमान बाड़मेर में 40.3 डिग्री सेल्सियस रहा। इसके अलावा प्रदेश के अधिकांश जिलो में तापमान 35 से 40 डिग्री के बीच दर्ज किया गया। दूसरी तरफ शेखावाटी के कई इलाकों में बारिश नहीं होने की वजह से फसलें सूखना शुरू हो गई हैं।

Advertisement

कई जगह बाजरे की फसल सूखने की वजह से किसानों के सामने चारे का संकट खड़ा हो गया है। आगामी दिनों में बारिश की गतिविधियों में कमी आएगी। प्रदेश में एक दर्जन से अधिक जगह शनिवार को बारिश हुई। इनमें जयपुर के अलावा टोंक, सवाई माधोपुर, करौली, धौलपुर, बारां, झालावाड़, भीलवाड़ा, चित्तौड़गढ़, सिरोही, पाली, राजसमंद, डूंगरपुर, बांसवाड़ा, उदयपुर के अलावा प्रतापगढ़ समेत कई जगह शामिल है। कई जगह तो सुबह से ही बारिश शुरू हुई जो देर रात तक जारी रही।

यह खबर भी पढ़ें:-राज्यपाल का राजस्थान में 4 साल होने पर संवाद, बोले- नई शिक्षा नीति लागू करने में राजस्थान अग्रणी

जलने लगी खेतों में खड़ी फसले

शेखावाटी इलाकों में खरीफ सीजन की शुरुआत में बारिश अच्छी होने से किसानों ने बारानी और सिंचित क्षेत्र में बुवाई की। शुरुआती दौर में फसल भी अच्छी हुई, लेकिन इन क्षेत्रों में पिछले एक महीने से बारिश नहीं होने तथा धूप में तेजी के कारण खेतों में खड़ी फसल सूख गई है। कृषि विभाग भी फसलों की उत्पादकता दर में गिरावट आना तय मान रहा है।

पांच फीसदी अधिक बारिश: जल संसाधन विभाग की ओर से जारी रिपोर्ट के अनुसार प्रदेश में मानसून के सीजन में सामान्य से 5 फीसदी अधिक बारिश दर्ज की जा चुकी है।

फसलों पर संकट से किसान चितिंत

पर्याप्त बारिश नहीं होने से अब फसलों पर संकट मंडराने लगा है। ऐसे में किसान चितिंत हैं। शेखावाटी क्षेत्र में मूंग सहित बाजरा, मोठ, ग्वार व तिल की फसलों को बारिश की जरूरत है। मूंग 60 दिनों में पककर तैयार हो जाता है। इसके अलावा मूंगफली और बाजरा फसलों पर भी संकट के बादल छाए हुए हैं।

यह खबर भी पढ़ें:-भरतपुर: स्टाफ का पानी पीने पर दलित छात्र पर बरसाए डंडे-घूंसे, गुस्साए परिजनों ने शिक्षक को पीटा

दक्षिणी-पश्चिमी हवा की वजह से इनमें भी कीट का प्रकोप और बारिश की कमी के कारण सूखने का डर बना हुआ है। सबसे ज्यादा नुकसान दलहनी फसलों में हुआ है। किसानों का कहना है कि एक तो उनकी फसल तबाह हो गई और अब इस बर्बाद फसल को हटाने के लिए मजदूरी का भार झेलना पड़ रहा है।

सक्रिय होगा मानसून

मौसम केन्द्र जयपुर के निदेशक राधेश्याम शर्मा ने बताया कि 10 सितंबर से राज्य में बारिश की गतिविधियों में थोड़ी कमी होगी और केवल पूर्वी राजस्थान में हल्की बारिश होने की संभावना रहेगी। इसके अलावा 13 और 14 सितंबर से पूर्वी राजस्थान के कुछ भागों में एक बार पुनः मानसून सक्रिय होगा और मध्यम दर्जे की बारिश होने की संभावना है।

.