'जेब भरने में लगे कोचिंग मालिक' खाचरियावास का बड़ा हमला, मंत्री जोशी बोले-कोचिंग सेंटरों पर लगे बैन
Kota Students Suicide : जयपुर। कोटा में इस साल एक के बाद एक हो रहे कोचिंग स्टूडेंट्स के सुसाइड मामलों को लेकर प्रदेश की गहलोत सरकार चिंतित है। गहलोत के मंत्रियों का कहना है कि कोचिंग संस्थाओं को लेकर केंद्र सरकार जब तक कोई नीति नहीं बनाए, तब तक कोचिंग सेंटरों को बंद कर देना चाहिए। साथ कोचिंग मालिकों पर निशाना साधते हुए कहा कि ये लोग सिर्फ अपनी जेब भरने में लगे हुए है। ये लोग बच्चों की सेफ्टी को लेकर कुछ भी नहीं कर रहे है। अगर ये अब भी नहीं समझे तो हम कानून के डंडे से इनको समझाएंगे। वहीं, शिक्षा मंत्री बीडी कल्ला ने कहा कि सुसाइड के बारे में सोचना पाप हैं और करना महापाप है, ऐसे में इनकी काउंसलिंग होनी चाहिए।
कांग्रेस स्क्रीनिंग कमेटी की बैठक में शामिल होने के लिए पीसीसी पहुंचे जलदाय मंत्री महेश जोशी ने कहा कि नौजवान जब अपनी जान देता है, तो सबके लिए दुखदायी होता है। कोचिंग सेंटर के मामले में पूरे देश को विचार करना पड़ेगा। बच्चे का भविष्य संवारने के लिए मां-बाप अपने आप को कर्ज में डूबो लेते है। बच्चे पर पढ़ाई के साथ-साथ इस बात का प्रेशर होता है कि मेरे लिए माता-पिता ने खुद को कर्ज में डुबो लिया है। एक साथ दोनों प्रेशर सहन करने के लिए बच्चा अकेला होता है। ऐसे में इस व्यवस्था पर पुन: विचार करना चाहिए।
मंत्री जोशी की मांग…कोंचिग इंस्टीट्यूट के लिए नीति बनाए केंद्र सरकार
उन्होंने कहा कि केंद्र सरकार को कोंचिग इंस्टीट्यूट के बारे में एक नीति बनाएं। ताकि किसी भी बच्चे के माता-पिता को कर्ज ना लेना पड़े। कोचिंग में पढ़ने वाले बच्चों पर ये सबसे बड़ा प्रेशर होता है कि अगर हम कुछ नहीं बन पाए तो माता-पिता क्या करेंगे। साथ ही उन्होंने कहा कि जब तक केंद्र कोई नीति नहीं बनाएं, तब तक कोचिंग संस्थाओं पर बैन लगाया जाना चाहिए।
खाचरियावास ने कोचिंग मालिकों पर साधा निशाना
खाद्य मंत्री प्रताप सिंह खाचरियावास ने कोचिंग सेंटरों के मालिकों पर निशाना साधते हुए कहा कि मुख्यमंत्री के समझाने के बाद भी ये लोग नहीं समझ रहे है। अब हम कानून के डंडे से इन लोगों को समझाएंगे। आज कोचिंग नहीं माफिया खड़ा हो गया है। एक भी कोचिंग वाला ये नही कहता कि मेरे आत्मा रो रही है, बस ये लोग पैसा इकट्टा करने में जुटे है। मरोगे क्या ज्यादा ले लेकर…भगवान छोड़ेगा नहीं।
उन्होंने कहा कि कोचिंग वाले बच्चों की सेफ्टी को लेकर कुछ भी नहीं कर रहे है। कोचिंग से बच्चा कूद रहा है। लेकिन, ये लोग जाल क्यों नहीं लगाते। उन्होंने कहा कि मैं एसपी-कलेक्टर से कहूंगा कि कोचिंग संस्थाओं में जाकर चेक करो, अगर वे नहीं जाएंगे तो हम देखेंगे। अगर जाल लगा होगा तो बच्चा ऊपर से कैसे कूद पाएगा। मुख्यमंत्री अशोक गहलोत ने कलेक्टर और एसपी को पावर दी है, ऐसे में ध्यान रहे कि कलेक्टर-एसपी कोचिंग मालिकों के प्रभाव में ना आएं। यदि एसपी-कलेक्टर एक्शन नहीं लेंगे तो फिर जनता एक्शन लेगी।