पेपरलीक पर बड़ा फैसला : अब CS-DGP लेवल पर मॉनिटरिंग…दोषियों पर केस ऑफिसर स्कीम के तहत ट्रायल
Paper Leak Case : जयपुर। राजस्थान में भाजपा की नई सरकार पेपरलीक के मामले में लगातार सख्त एक्शन ले रही है। मंत्रिमंडल गठन से पूर्व ही पेपर लीक मामले की जांच के लिए एसआईटी का गठन कर दिया गया है। अब इस मामले में गुरुवार को सरकार ने एक और बड़ा फैसला लिया। सीएमओ में मुख्यमंत्री भजन लाल शर्मा की अध्यक्षता में हुई मीटिंग में यह फैसला लिया गया कि अब भर्ती परीक्षाओं की मॉनिटरिंग मुख्य सचिव और डीजीपी लेवल पर की जाएगी। पेपरलीक और नकल दोषियों के खिलाफ केस ऑफिसर स्कीम के तहत ट्रायल होगा। दोषियों पर कड़ी कार्रवाई होगी। साथ ही संदिग्ध परीक्षा केंद्रों व कोचिंग संस्थानों की विशेष निगरानी होगी।
पेपरलीक के मामलों को रोकने के लिए हेल्पलाइन नंबर भी जारी किया गया है। हेल्पलाइन नंबर 9530428258 पर परीक्षा संबंधी गड़बड़ी की सूचना दी जा सकेगी। सीएमओ में हुई बैठक में मुख्यमंत्री ने कहा कि राज्य में आगामी प्रतियोगी परीक्षाओं में प्रश्नपत्र लीक और नकल रोकने के लिए पुख्ता प्रबंध किए जाएंगे। उन्होंने कहा कि बेरोजगार और मेहनती युवाओं को न्याय दिलाना और परीक्षाओं में गोपनीयता बनाए रखना राज्य सरकार की प्राथमिकता है।
उच्चस्तरीय मीटिंग में बोले सीएम... होंगे पुख्ता प्रबंध
सीएम ने उच्चस्तरीय बैठक में कहा कि आने वाली भर्ती परीक्षाओं में प्रश्नपत्र लीक व नकल जैसी गडबड़ियों को रोकने के लिए पुख्ता प्रबंध किए जाएंगे। इसके लिए परीक्षा से पूर्व मुख्य सचिव एवं पुलिस महानिदेशक स्तर से जिला कलेक्टर एवं पुलिस अधीक्षक से सीधा संवाद कर सभी आवश्यक प्रबंध सुनिश्चित किए जाएंगे। परीक्षा केंद्रों पर निगरानी के लिए गठित उड़नदस्तों के लिए पर्याप्त अधिकारी एवं पुलिस बल जिलों को उपलब्ध करवाए जाने के निर्देश दिए।
सीएम ने कहा कि जिन परीक्षा केंद्रों एवं कोचिंग संस्थानों के बारे में विभिन्न स्रोतों से संदिग्ध गतिविधियों की जानकारी प्राप्त होती है, उन पर विशेष निगरानी रखी जाए। ऐसे परीक्षा केंद्रों व कोचिंग संस्थानों की संदिग्धता पाए जाने पर कठोर कानूनी कार्रवाई की जाए।
हाल ही में पकड़े गए थे पांच डमी अभ्यर्थी
उल्लेखनीय है कि एसओजी द्वारा हाल ही में राजस्थान लोक सेवा आयोग द्वारा आयोजित वरिष्ठ अध्यापक (माध्यमिक शिक्षा) प्रतियोगी परीक्षा-2022 के विज्ञान तथा सामान्य ज्ञान व शैक्षणिक मनोविज्ञान विषय की लिखित परीक्षा में डमी अभ्यर्थियों के रूप में बैठने वाले पांच आरोपियों को हिरासत में लिया गया है।
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