साइबर ठगी की रकम निकालने का अलग तरीका, प्राइवेट कंपनी का एटीएम लगा कमीशन पर निकालते थे रकम
cyber fraud : भरतपुर। मेवात क्षेत्र के साइबर ठगों ने लोगों से ऐंठी गई रकम निकालने के लिए एक अलग ही तरीका निकाला है। इसके तहत प्राइवेट कंपनी का एटीएम लगवा कर कमीशन पर रकम निकलवाते हैं। ऐसा ही एक मामला सोमवार को थाना जुरहरा क्षेत्र के बामनी गांव में देखने को मिला। एसपी श्याम सिंह ने बताया कि सोमवार को एसएचओ जयप्रकाश को मुखबिर से सूचना मिली कि बामनी गांव में सुबह खान की दुकान में अकरम और रफीक निवासी गावंडी थाना जुरहरा ने एनसीआर कंपनी का एटीएम लगा रखा है, जो कमीशन पर फर्जी एटीएम-डेबिट कार्ड से अन्य ठगों की ओर से ऐंठी गई रकम निकालते हैं। एएसपी हिम्मत सिंह व सीओ प्रदीप सिंह यादव के सुपर विजन में टीम गठित की गई।
सूचना पर एसएचओ जयप्रकाश जाब्ते के साथ तुरंत मौके पर पहुंचे। मुखबिर के बताए अनुसार सुबह खान की दुकान के बाहर खड़े दो व्यक्ति पुलिस को देखकर भागने लगे। टीम ने पीछा कर उनको पकड़ना चाहा, लेकिन दोनों अंधेरे का फायदा उठाकर भाग गए। दुकान की तलाशी में एक एटीएम, पोस मशीन, 32 विभिन्न कंपनियों के एटीएम कार्ड तथा 19 डेबिट कार्ड मिले। इनको जब्त कर आरोपी अकरम और रफीक के खिलाफ मामला दर्ज किया गया। वहीं फरार दोनों आरोपियों की तलाश की जा रही है।
फर्जी मृत्युप्रमाण पत्र बना 25 लाख की ठगी के पांच आरोपी धरे
इधर, धौलपुर जिले की नादनपुर थाना पुलिस ने ग्राम पंचायत सचिव की आईडी पासवर्ड चोरी कर मृत्यु-प्रमाण पत्र बनाकर श्रम विभाग से करीब 25 लाख रुपए की ठगी करने के मामले में पांच आरोपियों को गिरफ्तार किया है। थाना प्रभारी राम अवतार बैरवा ने बताया कि आरोपियों ने अलग-अलग नामों से मृत्यु-प्रमाण पत्र बनाकर सुनियोजित तरीके से श्रम विभाग से धोखाधड़ी की थी। ग्राम पंचायत सचिव ने धोखाधड़ी का मामला दर्ज कराया था।
अनुसंधान के बाद पुलिस ने मंगलवार को शातिर ठग पूरन कुशवाहा (25) निवासी बरईपुरा, दयाराम (45) निवासी घड़ी सरमथुरा, रिंकू मीणा (21) निवासी लीलौठी, भूरी सिंह (28) निवासी खेमरी एवं राजबहादुर (50) उर्फ पप्पू मीणा निवासी गेंदापुरा को गिरफ्तार किया है। थाना प्रभारी ने बताया आरोपियों को गिरफ्तार कर ठगी गई राशि को बरामद करने के प्रयास किए जा रहे हैं।
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गैंग में करीब 25 जने शामिल
थाना प्रभारी रामअवतार बैरवा ने बताया गैंग के करीब 25 लोगों ने अलग-अलग मृत्यु प्रमाण पत्र के माध्यम से श्रम विभाग से राशि निकाली है। उन्होंने बताया एक मृत्यु प्रमाण पत्र से करीब एक लाख की राशि निकाली गई है। धोखाधड़ी गैंग में 25 लोग शामिल हैं। इस मामले में गिरफ्तार हुए पांच आरोपियों के अलावा शेष आरोपियों को भी शीघ्र गिरफ्तार किया जाएगा।
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