बदला मौसम का मिजाज : खेतों में पड़ी फसल भीगने से किसान चिंतित, आज इन जिलों में बारिश की संभावना
जयपुर। राजस्थान में एक नया पश्चिमी विक्षोभ सक्रिय होने से राजधानी जयपुर समेत अन्य जिलों में मौसम में बदलाव देखने को मिल रहा है। शनिवार को हुई बारिश के बाद आज भी प्रदेश के कई जिलों में मौसम का मिजाज बदला हुआ है। मौसम विभाग के अनुसार होली तक ऐसा ही मौसम रहने के आसार है। हालांकि, आधी फरवरी निकलते ही ऐसा लग रहा था कि गर्मी का दौर शुरू हो गया है। लेकिन, बारिश के चलते होली से पहले एक बार फिर ठंड ने दस्तक दे दी है। मौसम केंद्र जयपुर के मुताबिक पूर्वी राजस्था के उदयपुर, अजमेर, कोटा व जयपुर संभाग के जिलों में आगामी एक-दो दिन कई स्थानों पर मेघगर्जन के साथ हल्की बारिश होने की संभावना है।
जानकारी के मुताबिक उदयपुर के ग्रामीण इलाकों में आज मौसम सुहावना बना हुआ है। सुबह से ही आकाश में मेघ गर्जना के साथ कहीं तेज तो कहीं हल्की बूंदाबांदी हो रही है। वहीं, कोटा में मूसलाधार बारिश होने से तापमान में भारी गिरावट आई है। कई जगह बिजली गिरने की खबरें भी सामने आ रही है। झालावाड़ जिले के भवानीमंडी में करीब 20 मिनट तक बादलों की गड़गड़ाहट के साथ बारिश हुई। जिससे सड़कों पर पानी बहने लगा और खेत खलिहानों में रखी फसल भीग गई। अकरेला में भी सुबह से ही बूंदाबादी का दौर जारी है। खानपुर में भी बारिश ने ठिठुरन बढ़ा दी है। अजमेर के बांदनवाड़ा में रातभर से ही रिमझिम बारिश हो रही है। सीरोह के रेवदर में देर रात बादलों की गर्जना के साथ बारिश हुई। क्षेत्र के पोसितरा गांव में आकाशिय बिजली गिरने से बिजली मीटर व घरेलू सामान जल गया। ग्रामीणों ने कड़ी मशक्कत के बाद आग पर काबू पाया
बारिश ने बढ़ाई किसानों की चिंता
प्रदेश में हो रही बारिश ने किसानों की चिंता बढ़ा दी है। इस समय फसल कटाई का समय चल रहा है। हल्की बारिश होने से नमी आने के कारण जौ व सरसों की कटाई के दौरान किसानों को परेशानी होगी। बेमौसम हुई बरसात के चलते किसान कटी हुई जौ की फसल की पुलियों को भीगने से किसान चिंतित है। किसानों का कहना है कि पाला पड़ने से फसल पहले ही आधी से ज्यादा खराब हो चुकी है। ऐसे में अब बारिशन होने से फसल पूरी तरह चौपट हो गई है। बारिश के चलते खेत खलिहानों में पड़ी फसल भीग गई है, ऐसे में किसानों के सामने आर्थिक संकट खड़ा हो गया है। धनिया, सरसों समेत अन्य फसलों में 70 प्रतिशत से अधिक नुकसान की आशंका जताई जा रही है। किसानों ने राज्य सरकार से नुकसान का सर्वे करवाकर मुआवजा दिलाने की मांग की है।
होली तक ऐसा ही रहेगा मौसम
राजस्थान के उत्तर-पूर्वी जिलों में बीती रात से आज सुबह तक कई जगहों पर बारिश होने से होली से पहले मौसम में ठंडक घुल गई है। मौसम विभाग के मुताबिक उदयपुर, बांसवाड़ा, चित्तौड़गढ़, प्रतापगढ़, डूंगरपुर, राजसमंद, अजमेर, भीलवाड़ा, नागौर, टोंक, कोटा, झालावाड़, बारां, बूंदी, जयपुर, दौसा, सीकर, अलवर और झुंझुनूं जिले में आज भी कई स्थानों पर मेघगर्जन के साथ हल्की बारिश होने की संभावना है। वहीं, जोधपुर और बीकानेर संभाग में 6 व 7 मार्च को कहीं-कहीं हल्की बारिश होने की संभावना है। पूर्वी राजस्थान के सभी संभागों में 9 मार्च तक बारिश की संभावना जताई गई है। मौसम केंद्र जयपुर के निदेशक राधेश्याम शर्मा ने बताया कि बंगाल की खाड़ी में बने एंटी साइक्लोनिक सिस्टम और उत्तर भारत में एक्टिव हो रहे वेर्स्टन डिर्स्टबेंस से मध्य भारत के राजस्थान, गुजरात और मध्य प्रदेश के हिस्सों में एक नया वेदर सिस्टम बन रहा है। हालांकि इस सिस्टम से ज्यादा बारिश तो नहीं होगी, लेकिन कई जगहों पर हल्की बारिश हो सकती है।
शनिवार को कहां कितनी हुई बारिश
पूर्वी राजस्थान में शनिवार को मेघगर्जन के साथ हल्की बारिश हुई और कई जगहों पर बिजली गिरी। वहीं पश्चिमी राजस्थान के इलाकों में हल्की बारिश दर्ज की गई है। मौसम विभाग के अनुसार प्रदेश के सीकर जिले में 3, चितौड़गढ़ में 2 एमएम बारिश दर्ज की गई। वहीं पूर्वी राजस्थान के बदनौर, भीलवाड़ा में 6, अजमेर 5,अराई अजमेर 4,फागी जयपुर 2.5, सीकर, नैनवा बूंदी 2-2,दातारामगढ़ चाकसू में 1-1 एमएम बारिश दर्ज की गई। वहीं डूंगरगढ़, नोखा, बीकानेर में 2-2,सुजानगढ़, मकराना लाडनूं में 1-1 सेमी वर्षा दर्ज की गई है।
राजस्थान सहित इन राज्यों में बदला मौसम का मिजाज
मौसम विभाग ने होली से पहले राजस्थान और पश्चिमी और मध्य भारत के बड़े हिस्से में गरज के साथ बौछारें पड़ने और ओलावृष्टि की संभावना जताई है। भारत मौसम विज्ञान विभाग ने उष्णकटिबंधीय मौसम प्रणालियों के कारण बुधवार तक गरज के साथ बौछारें पड़ने और ओलावृष्टि का पूर्वानुमान जताया है। आईएमडी के अनुसार, पश्चिमी हिमालयी क्षेत्र में रविवार को भी छिटपुट बारिश या बर्फबारी की संभावना है। राजस्थान, मध्य प्रदेश, छत्तीसगढ़, महाराष्ट्र और गुजरात में 4-8 मार्च तक हल्की से मध्यम बारिश होने की संभावना जताई है। आठ मार्च तक पूर्वी राजस्थान, पश्चिमी मध्य प्रदेश, गुजरात, मराठवाड़ा और मध्य महाराष्ट्र में भी इसी तरह का मौसम रहने की संभावना है।