किसकी शह पर चला भ्रष्टाचार का खेल? ACB के सामने राज उगलेगा आरोपी, कोर्ट ने 3 दिन के रिमांड पर भेजा
Ved Prakash Yadav : जयपुर। योजना भवन में 2 करोड़ 31 लाख 49 हजार 500 रुपए और 1 किलो सोने के बिस्कुट मिलने के मामले में पकड़े गए आरोपी वेद प्रकाश यादव को एसीबी ने रविवार को कोर्ट में पेश किया। जहां से जज ने आरोपी को 3 दिन के एसीबी रिमांड पर भेज दिया है। जयपुर कमिश्नरेट पुलिस ने डीओआईटी में संयुक्त निदेशक वेद प्रकाश यादव को शनिवार दोपहर हिरासत में ले लिया था। लेकिन, मामला करप्शन का होने के चलते एसीबी को सौंप दिया गया था। साथ ही पुलिस ने आरोपी यादव को भी एसीबी के सुपुर्द कर दिया था। अब एसीबी की टीम पूरे मामले की जांच में जुटी हुई है। सूत्रों की मानें तो इस प्रकरण में ईडी भी जल्द ही एंट्री कर सकती है। इधर, वेद प्रकाश यादव की गिरफ्तारी के बाद एसीबी ने मामला दर्ज कर लिया है। वहीं, विभाग ने वेद प्रकाश यादव को सस्पेंड कर दिया है।
अनुसंधान अधिकारी एसीबी एएसपी ललित शर्मा की देखरेख में टीम दोपहर बाद आरोपी वेद प्रकाश यादव को जज के सामने पेश किया गया। हालांकि, रविवार की छुट्टी के चलते एसीबी ने आरोपी को जज के आवास पर पेश किया। जहां से आरोपी को 3 दिन के रिमांड पर भेजा गया। इसके बाद एसीबी की टीम आरोपी लेकर एसीबी कार्यालय पहुंची। जहां पर आरोपी से पूछताछ की जाएगी। एडीजी हेमंत प्रियदर्शी पूरे मामले की मॉनिटरिंग कर रहे है।
इन सवालों का खुलेगा राज
तीन दिन की रिमांड अवधि के दौरान एसीबी की टीम यह पता लगाने की कोशिश करेगी कि टेंडर किस कंपनी का था और कौन-कौन लोग जुड़े है? टेंडर के समय किस अधिकारी की शह पर भ्रष्टाचार का पूरा खेल चला? किन-किन लोगों को रिश्वत की राशि दी थी? रिश्वत कौनसे स्थान पर ली और किस जरिए से मिली? पैसा कहां-कहां बंटना था? एसीबी की टीम टेंडर देने वाली कंपनी के प्रतिनिधि से भी पुलिस पूछताछ करेगी। अनुसंधान के दौरान संबंधित फाइलें कब्जे में लेगी। टेंडर आखिर उक्त कंपनी को ही क्यों मिला इसकी भी जांच की जाएगी। तप्तीश के दौरान जो नाम सामने आएंगे उन पर भी एसीबी की टीम शिकंजा कसेगी और नोटिस देकर संदिग्धों से पूछताछ करेगी।
भ्रष्टाचार में फंसा वेद प्रकाश निलंबित
इधर, भ्रष्टाचार मामले में फंसे वेद प्रकाश यादव को विभाग ने निलंबित कर दिया है। विभाग के अतिरिक्त मुख्य सचिव अखिल अरोरा ने विज्ञप्ति जारी कर बताया कि सूचना एवं प्रौद्योगिकी विभाग के सिस्टम एनालिस्ट जॉइंट डायरेक्टर वेद प्रकाश यादव को एसीबी ने अपराध संख्या 125 / 23 अन्तर्गत मामला दर्ज कर गिरफ्तार कर लिया है। ऐसे में राजस्थान सिविल सेवाएं (वर्गीकरण, नियंत्रण एवं अपील) नियम 1958 के नियम-13 के तहत प्रदत्त शक्तियों का प्रयोग करते हुए वेद प्रकाश यादव को तुरन्त प्रभाव से निलम्बित किया जाता है। निलम्बन काल में यादव को नियमानुसार निर्वाह भत्ता देय होगा।
यूं पकड़ा गया था आरोपी
योजना भवन के बेसमेंट में सरकारी खजाना मिलने के बाद पुलिस कमिश्नर आनंद श्रीवास्तव ने जांच के लिए 100 से अधिक लोगों की टीम लगाई थीं। जिसने योजना भवन कब्जे में लेकर गहन सर्च ऑपरेशन चलाया और सरकारी दस्तावेज व सीसीटीवी खंगाले। साथ ही दो दर्जन से ज्यादा लोगों से पूछताछ की गई थी। सीसीटीवी फुटेज में वेद प्रकाश यादव 8 मई 2023 को अलमारी में पैसों से भरा बैग छिपाते हुए दिखाई दिया। सीसीटीवी में दिखा कि ड्यूटी के बाद वेद प्रकाश कंधे पर लैपटॉप का बैग लेकर बेसमेंट में गया। आलमारी का ताला खोलकर बैग रखा और फिर वहां से निकल गया। यह वही अलमारी है, जिससे पुलिस को 2.31 करोड़ रुपए और एक किलो सोना मिला था। इसके बाद जयपुर कमिश्नरेट पुलिस ने आरोपी यादव को शनिवार दोपहर हिरासत में ले लिया। पुलिस ने वेद प्रकाश यादव को जब सीसीटीवी फुटेज दिखाए तो उसके होश उड़ गए। सख्ती से पूछताछ करने पर वह टूट गया और पुलिस को रिश्वत के बारे में जानकारी दी। इसके बाद पुलिस ने मामला करप्शन का होने के चलते एसीबी को सौंप दिया।
ये था पूरा मामला
शासन सचिवालय के पास स्थित योजना भवन में शुक्रवार रात फाइलों के डिजिटलीकरण करने के काम को लेकर कई दिनों से बंद पड़ी एक अलमारी से 2 करोड़ 31 लाख 49 हजार 500 रुपए और 1 किलो सोने के बिस्कुट बरामद हुए थे। इसके बाद जयपुर पुलिस कमिश्नर आनंद श्रीवास्तव ने शुक्रवार रात सचिवालय में प्रेसवार्ता कर सरकारी खजाना मिलने का खुलासा किया था। यह राशि आधार कार्ड के कामकाज देखने वाले यूआईडी विभाग की अलमारी में रखी हुई थी। लैपटॉप बैग और ट्रॉली वाले सूटकेस से यह पैसा और सोना निकला था। इसमें 500 और 2000 रुपए के नोट और सोना बिस्कुट के रूप में मिला। पुलिस कमिश्रनर आनंद श्रीवास्तव ने बताया था कि सचिवालय में फाइलों को स्कैन कर डिजिटल करने का काम चल रहा है। इसी के तहत डीओआईटी के यूआईटी विभाग की फाइल भी स्कैन होनी थी। सैकड़ों अलमारियों में रखी फाइलों को स्कैन किया जा चुका है, जबकि यूआईटी विभाग के बेसमेंट में रखी दो अलमारियों की चाबी कई दिनों से नहीं मिल रही थी। जब अलमारियों को खुलवाया गया तो एक अलमारी से फाइलें निकली तथा दूसरी से एक लैपटॉप बैग व ट्रॉली वाला सूटकेस निकला। इन्हें खोलकर देखा तो इसमें से ये रकम निकली।