For the best experience, open
https://m.sachbedhadak.com
on your mobile browser.

उत्तर रिंग रोड के लिए 45 किमी सड़क का काम जल्द होगा शुरू, 388 हेक्टेयर भूमि होगी अधिग्रहित 

09:40 AM Jan 18, 2023 IST | Supriya Sarkaar
उत्तर रिंग रोड के लिए 45 किमी सड़क का काम जल्द होगा शुरू  388 हेक्टेयर भूमि होगी अधिग्रहित 

जयपुर । यातायात का दबाव कम करने के लिए अजमेर रोड से दिल्ली रोड तक 45 किलोमीटर की रिंग रोड बनाने का काम जल्द शुरू होगा। इसके तहत उत्तर रिंग रोड के 101 किमी से 145.10 किमी के लिए जयपुर तहसील के ग्राम बगराना से आमेर तहसील के चौंप गांव तक, जयपुर के जमवारामगढ़, आमेर और जयपुर तहसील के 34 गांवों में जमीन अवाप्त की जाएगी।

Advertisement

जिला कलेक्टर  प्रकाश राजपुरोहित ने बताया कि उत्तर रिंग रोड परियोजना निर्माण में राष्ट्रीय राजमार्ग प्राधिकरण से जयपुर तहसील के 6, आमेर तहसील के 14 एवं जमवारामगढ़ के 14 गांवों को प्रभावित गांवों की सूची में शामिल किया गया है। रिंग रोड के लिए कुल  388.35 हेक्टेयर जमीन अवाप्त की जाएगी। इस योजना के लिए सबसे ज्यादा जमीन आमेर तहसील के 14 गांवों से ली जाएगी।

(Also Read- दो साल बाद आयोजित हो रहा इंटरनेशनल टूरिज्म ट्रेड फेयर फितूर, राजस्थान पर्यटन विभाग की प्रमुख शासन सचिव गायत्री राठौड़ लेगी भाग)

इन 14 गांवों में कुल 234.88 हेक्टेयर जमीन अवाप्त की जाएगी, वहीं जमवारामगढ़ तहसील के 14 गांवों की 100.71 और जयपुर तहसील के 6 गांवों की 52.75 हेक्टेयर जमीन अवाप्त की जाएगी। जिला कलेक्टर ने बताया कि भूमि अर्जन की कार्यवाही के तहत अधिनियम की धारा 3 ए का प्रस्ताव सक्षम प्राधिकारी द्वारा राष्ट्रीय राजमार्ग प्राधिकरण को 13 जनवरी को प्रेषित कर दिया गया है। इसके लिए जल्द भारत के राजपत्र में प्रकाशन होने के बाद आपत्तियां आमंत्रित की जाएगी।

21 दिन में देनी होगी आपत्तियां

एनएचएआई से गजट जारी करने के बाद प्राधिकरण स्तर पर धारा 3 (ए) के प्रस्ताव का भारत के राजपत्र में प्रकाशन करवाने के उपरांत सक्षम प्राधिकारी कार्यालय स्तर पर अधिसूचना का प्रकाशन किया जाएगा।  इस सूचना के जारी होने के 21 दिन के अंदर प्रभावितों को अपनी आपत्ति एवं सुझाव देने होंगे। इसके बाद आपत्तियों का निस्तारण करके अंतिम आदेश जारी किए जाएंगे।

अक्टूबर तक होगी सभी प्रक्रिया पूरी 

जमीन अवाप्ति की प्रक्रिया शुरू करने से लेकर आपत्तियों के निस्तारण, मुआवजा देने और जमीन का कब्जा लेने की ये सभी प्रक्रिया इस साल अक्टूबर तक पूरा करने का लक्ष्य है। इस दौरान प्रभावित खातेदारों को डीएलसी दर से मुआवजा जमीन का मुआवजा साथ 100 प्रतिशत सोलेशियम और उस जमीन पर बने स्ट्रक्चर (कुएं, पेड़, मकान, बोरवेल आदि) का अलग से आकलन करके मुआवजा दिया जाएगा।

(Also Read- प्रदर्शन का अखाड़ा बन रही है राजस्थान यूनिवर्सिटी, अब संविदाकर्मी बैठे धरने पर)

.