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Crime News: 26 वर्षीय युवक का कारनामा, महाराष्ट्र में 3 कम्पनियां खोल कर दी 166 करोड़ की जीएसटी चोरी,अब ऐसे आया पकड़ में

04:11 PM Sep 19, 2024 IST | Ravi kumar

सरहदी बाड़मेर में एक 26 वर्षीय युवक ने बड़ा कारनामा किया है जिसका खुलासा होने के बाद जीएसटी खुफिया महानिदेशालय ने आरोपी युवक को बाड़मेर से गिरफ्तार कर लिया है। महाराष्ट्र में फर्जी दस्तावेज के आधार पर तीन कंपनियां खोलकर करोड़ों रुपए के टैक्स चोरी करने के मामले में जीएसटी विभाग की टीम ने कार्रवाई करते हुए बाड़मेर के मरटाला गाला निवासी 26 वर्षीय को गिरफ्तार किया है।

सरहदी बाड़मेर में एक 26 वर्षीय युवक ने बड़ा कारनामा किया है जिसका खुलासा होने के बाद जीएसटी खुफिया महानिदेशालय ने आरोपी युवक को बाड़मेर से गिरफ्तार कर लिया है। महाराष्ट्र में फर्जी दस्तावेज के आधार पर तीन कंपनियां खोलकर करोड़ों रुपए के टैक्स चोरी करने के मामले में जीएसटी विभाग की टीम ने कार्रवाई करते हुए बाड़मेर के मरटाला गाला निवासी 26 वर्षीय को गिरफ्तार किया है।

जीएसटी खुफिया महानिदेशालय की रिपोर्ट के अनुसार पूरा खेल बेहद शातिर तरीके से किया गया, जिसका मास्टरमाइंड एक 26 साल का वीरेंद्र उर्फ कल्पेश कुमार निकला है जोकि बाड़मेर जिले के मरटाला गाला निवासी है. पूरे घटनाक्रम में उसके 2 साथी कृष्ण कुमार और दिनेश कुमार भी शामिल थे, लेकिन पूरा लेन-देन वीरेंद्र के खाते से हुआ। जिसके बाद वीरेंद्र और उसके साथी दिनेश कुमार को गिरफ्तार कर लिया गया है.

जीएसटी मामलों के खुफिया महानिदेशालय (डीजीजीआई) ने फर्जी कंपनियां बनाकर टैक्स चुराने वाली कंपनियों के खिलाफ विशेष अभियान चला रखा है. विभाग की टीम ने अप्रैल 2024 में पुणे में कार्रवाई की तो पता चला कि तीन फर्म काम तो पुणे में करती हैं लेकिन उनके बिजनेस का मूल पता गोवा और महाराष्ट्र के किसी और लोकेशन का है.

डीजीजीआई टीम मैसर्स एसके एंटरप्राइजेज के गोवा के एड्रेस पर पहुंची तो वहां फर्म का ऑफिस ही नहीं मिला। इसी तरह गोवा में ही मैसर्स आरके एंटरप्राइजेज का ऑफिस भी नहीं था। मैसर्स श्री महालक्ष्मी एंटरप्राइजेज का पता महाराष्ट्र के पुणे का था, वहां भी फर्म का कोई अस्तित्व नहीं मिला। तीनों फर्म नहीं मिलने पर जांच एजेंसी अलर्ट हुई और तीनों के रिकॉर्ड की छानबीन शुरू की तो उनकी जांच बाड़मेर पहुँची और यहां से 26 वर्षीय युवक वीरेंद्र उर्फ कल्पेश को गिरफ्तार कर लिया है।

आरोपी के पिता हेमाराम के पास एक ट्रैक्टर है. जिसे उसने बाड़मेर की एक बैंक से लोन लेकर खरीदा है और उसी ट्रैक्टर से पानी के टैंकर डाल कर ट्रैक्टर की किस्त भरता है. पिता के मुताबिक बेटा जयपुर में रहकर कोचिंग कर रहा है उसकी कोचिंग की फीस में घर से भेज रहा हूं उसपर लगे आरोप झूठे हैं अगर उसके पास इतने पैसे होते तो घर जरूर देता.

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